logo
  • Blogs
  • क्या अधिक चिंता से बाल झड़ने शुरू हो सकते है !

क्या अधिक चिंता से बाल झड़ने शुरू हो सकते है !

blog

    अपने बाल किसे पसंद नहीं होते, और भला पसंद भी क्यों ना हो। क्योंकि बालों से हमारी शोभा बढ़ती है। बाल हमारे व्यक्तित्व (personality) को निखारने में अहम भूमिका निभाते है। खासकर लड़कियों को तो उनके बाल बेहद ही प्यारे होते है। आज कल हर लड़की चाहती है कि उसके बाल लंबे, घने और मजबूत हो। वहीं पुरूषों को भी अपने बालों से बेहद प्यार होता है। लेकिल आज कल बाल झड़ने की समस्या बेहद आम हो चुकी है। फिर चाहे वो पुरूष हो या फिर स्त्री। अगर आप बालों को कंघी करते है या फिर बालों को धोकर आ रहे है तो बाल गिरते है तो यह एक साधारण बात है। क्योंकि कंघी करते समय थोड़े-बहुत बालों का झड़ना आम बात है। लेकिन जब बाल ज्यादा मात्रा में झड़ने लग जाएं तो फिर यह आम समस्या नहीं है। क्योंकि वैज्ञानिकों के अनुसार दिन में 50 से 100 बालों का गिरना आम है लेकिन जब यह संख्या बढ़ जाती है तो फिर परेशानी की बात है। हालांकि बालों का झड़ना एक नेचुरल साइकिल है। मतलब कि हर बार बाल झड़ने का मतलब चिंता का विषय नहीं है क्योंकि कंघी करते समय या फिर बाल धोते समय निकलने वाले बाल आम है। लेकिन चिंता की बात तब है जब बाल बड़ी संख्या में लग जाएं। जिसके चलते सिर में जगह-2 गंजापन दिखाई देने लगता है। बालों के झड़ने के कारण लोग अक्सर परेशान रहते है कि आखिर बालों के झड़ने के पीछे क्या कारण है। बात दें कि बालों के झड़ने के पीछे कई कारण हो सकते है। लेकिन अधिक चिंता करना भी बालों के झड़ने का एक मुख्य कारण हो सकता है। क्योंकि चिंता और मानसिक तनाव न केवल हमारी स्वास्थ्य पर असर डालता है बल्कि इसका हमारी त्वचा और हमारे बालों पर भी बुरा असर पड़ता है। 

    • बाल झड़ने की सामान्य समस्या!

    बालों के लगातार झड़ने का एक मुख्य कारण अधिक चिंता करना भी है। शायद बहुत ही कम लोग जानते होंगे कि बालों के विकास की एक पूरी प्रक्रिया होती है। जिसमें तीन चरण शामिल होते है। इसमे पहला स्टेज एनाजेन है जिसमें बालों का विकास होता है, और इसके बाद आता है कैटाजन जिसमें बालों का विकास बंद हो जाता है, और बालों के आधार पर स्थित कूप सिकुड़ जाते है। इसके बाद आता है तीसरा स्टेज यानि की टेलोजेन स्टेज। जिसे आराम स्टेज भी कहा जाता है। इस स्टेज में बाल झड़ना शुरू हो जाते है, और बालों के झड़ने से उगने तक यह प्रक्रिया ऐसे ही चलती रहती है। इस प्रकिया के दौरान बालों का झड़ना एक आम बात है। क्योंकि इस दौरान झड़े बाल फिर से आ जाते है। लेकिन अगर आपके बाल एक लिमिट से ज्यादा झड़ते है तो यह एक चिंता का विषय है। 

    • अधिक चिंता से बालों का झड़ना

    आज के समय में हमारे देश की आबादी का एक बड़ा हिस्सा तनाव यानि की चिंता से जूझ रहा है, आज कल लोग किसी न किसी चीजों के चलते अक्सर चिंता में रहते है। यह चीज उनके जीवन में कुछ इस कदर हावी हो गई है कि चिंता करना उनकी रोजाना जिंदगी का हिस्सा बन चुका है। लोगो को लगता है कि तनाव, डिप्रेसन,चिंता आदि से केवल मानसिक और दिल संबंधी समस्याएं होती है। लेकिन आपको बता दें कि इन सब चीजों का हमारी त्वचा और हमारे बालों पर भी बहुत बुरा प्रभाव पड़ता है। अगर कोई डिप्रेशन की समस्या से जूझ रहा है तो भी उसको बाल झड़ने की समस्या हो सकती है। क्योंकि बालों के झड़ने के पीछे डिप्रेशन भी एक मुख्य कारण हो सकता है। आज के समय मे लोगों को बहुत सी परेशानियां होती है। जिनकी वजह से लोग अक्सर चिंता में रहते है। फिर जिसके बाद उन्हें बाल झड़ने जैसी समस्या का सामना करना पड़ता है। आइए जानते है कि आखिर चिंता की वजह से हमारे बाल कैसे झड़ते है:

    • टेलोजेन एफ्लुवियम

    अगर आप हर समय चिंता में रहते है तो यह टेलोजेन एफ्लुवियम (Telogen Effluvium)  को बढ़वा देता है। मतलब ज्यादा चिंता करने से बड़ी संख्या में बाल फॉलिकल्स (follicles) आराम  (resting) फेज में चले जाते है, और यही वो फेज होता है जिसमें बाल झड़ने शुरू हो जाते है। बालों के विकास को बढ़ावा देने वाले एक्टिव हेयर फॉलिकल्स की संख्या में बदलाव होने के कारण ही बाल झड़ने शुरू हो जाते है। इस स्थिति में जब भी आप अपने बालों को कंघी करते है, या बालो को धोते है तो बहुत ज्यादा बाल टूटते है। इससे स्कैल्प का मध्य भाग सबसे ज्यादा प्रभावित होता है। जिसके चलते बाल जगह-जगह से टूटने शुरू हो जाते है, और सिर में जगह-2 से गंजापन दिखाई देने लगता है। इसका कारण अधिक चिंता करना ही है, और यह समस्या किसी भी उम्र के व्यक्ति को प्रभावित कर सकती है। 

    •  एलोपेशिया एरिटा

    एलोपेशिया एरिटा (Alopecia areata)  एक प्रकार की बीमारी है। जब भी आप अधिक चिंता करते है तो इससे आपकी इम्यूनिटी कमजोर हो जाती है। जिसेक बाद एक कमजोर इम्यून सिस्टम सीधा हमारे बालों के फॉलिकल्स पर अटैक करता है। जिसकी वजह से बाल झड़ने की समस्या का सामना करना पड़ता है। इसकी वजह से सिर में जगह-2 से बाल झड़ने लगते है। कई बार तो स्कैल्प पूरी तरह से खाली हो जाता है। यह समस्या किसी भी उम्र के व्यक्ति को प्रभावित कर सकती है। 

    निष्कर्ष:

    बालों के झड़ने के पीछे कई कारण हो सकते है। उन्ही कारणों में से एक कारण है अधिक चिंता करना, डिप्रेस रहना, हर समय मानसिक तनाव में रहना। इन सब चीजों का भी बालों के ऊपर बुरा प्रभाव पड़ता है। क्योंकि हर समय चिंता में रहने से इम्यूनिटी सिस्टम बहुत कमजोर हो जाता है जिससे बाल झड़ने शुरू हो जाते है। हालांकि अगर आप ज्यादा चिंता नही करोगे तो इन्होंने गिरने से रोका जा सकता है। इसलिए जितना हो सके अपने आपको खुश रखने की कोशिश करें।

    Frequently Asked Questions

    • क्या टेंशन लेने से बाल झड़ते हैं?

      जी हां अगर आप जरूरत से ज्यादा टेंशन लेते है तो आपको बाल झड़ने की संभावना कई गुणा बढ़ा जाती है। क्योंकि ज्यादा टेंशन लेने से आपके बालों की नेचुरल ग्रोथ साइकिल प्रभावित हो जाती है। जिससे बाल झड़ने लग जाते है।

    • क्या खाने से बाल नहीं झड़ते?

      फल, विटामिन सी और पोषक तत्वों से भरपूर खाना जैसे कि बेरी, चेरी, संतरा आदि खाने से बाल झड़ना बंद हो जाते है।

    • मेरे बाल बहुत ज्यादा क्यों झड़ते हैं?

      बाल झड़ने के पीछे कई कारण हो सकते है जैसे कि प्रदूषण,खराब खान-पान,हमारी जीवनशैली और शरीर में विटामिन और पोषक तत्वों की कमी से आपको बाल झड़ने की समस्या से जूझना पड़ता है। इसी के साथ मानिसक तवाल , डिप्रेसन और चिंता भी बालों के झड़ने का एक मुख्य कारण हो सकता है।

    • 1 दिन में कितनी बार बालों को कंघी करना चाहिए?

      हर किसी के दिमाग में यह प्रश्न जरूर आता है कि हमें दिन में कितनी बार अपने बालों को कंघी करनी चाहिए। तो आपको बता दे कि एक दिन में कम से कम दो बार आपको अपने बालों में कंघी करनी चाहिए।

    • कौन से विटामिन से बाल घने होते हैं?

      विटामिन बी12 जोकि बालों को घना करने में मदद करता है। क्योंकि यह विटामिन बालों के विकास के लिए बेहद ही आवश्यक है। यह विटामिन बालों के फॉलिकल्स के फंक्शन में सुधार करता है।

      Vanita

      AuthorVanita is a Hindi medical content writer working for NIRVASA Digital Health Clinic. She has been diligently writing on various health related issues catered to by NIRVASA.